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Cyber Security: कुछ ही सेकंड में नकली वेबसाइटों का पता लग जाएगा, जानें पांच आसान तरीके – Hari Soni

Cyber Security: कुछ ही सेकंड में नकली वेबसाइटों का पता लग जाएगा, जानें पांच आसान तरीके – Hari Soni

Cyber Security – साइबर घोटालों से बचने के लिए, आपको इंटरनेट का उपयोग करते समय अत्यधिक सतर्क रहना चाहिए, क्योंकि धोखेबाज अब व्यक्तियों को पकड़ने और उनके खातों से पैसे निकालने के लिए आसान और आविष्कारशील हथकंडे अपना रहे हैं। साइबर बुली इसके लिए फर्जी वेबसाइटों का भी इस्तेमाल करते हैं।
इंटरनेट की शुरुआत के बाद से दुनिया नाटकीय रूप से बदल गई है। इंटरनेट ने एक आभासी दुनिया बनाई है जिसमें हम अपने सभी कार्यों को सहजता से कर सकते हैं। इंटरनेट ने जहां बैंकिंग को आसान बना दिया है, वहीं साइबर धोखाधड़ी की घटनाओं में भी काफी वृद्धि हुई है। साइबर धोखाधड़ी की घटनाओं में वृद्धि हुई है, खासकर कोरोना महामारी के बाद से।

इंटरनेट आने के बाद दुनियाभर में काफी तेजी से बदलाव हो रहा है। इंटरनेट ने हमें एक वर्चुअल दुनिया दी है, जिसमें हमारे सभी काम काफी आसानी से हो रहे हैं। एक ओर इंटरनेट से बैंकिग आसान हुई है वहीं साइबर धोखाधड़ी के मामलों में भी काफी इजाफा हुआ है। खासकर कोरोना महामारी के बाद साइबर फ्रॉड से जुड़ी घटनाओं की संख्या में इजाफा देखने को मिला है। डिजिटलीकरण और इंटरनेट के उपयोग के साथ भारत और उसके नागरिकों के लिए साइबर सुरक्षा एक बड़ी चुनौती है।


ठगी के लिए नए तरीके अपनी रहे धोखेबाज
इंटरनेट उपयोग करते समय आपको साइबर धोखाधड़ी से बचने के लिए बेहद सावधान रहने की जरूरत है, क्योंकि अब धोखेबाज लोगों को जाल में फंसाने और उनके अकाउंट से पैसे निकालने के लिए सरल और रचनात्मक तरीकों का इस्तेमाल कर रहे हैं। साइबर ठग इसके लिए फेक वेबसाइट का भी इस्तेमाल करते हैं। हालांकि कुछ बात का ध्यान रखा जाए तो इस प्रकार की साइबर ठगी से बचा जा सकता है। इस रिपोर्ट में हम आपको फेक वेबसाइट को पहचानने के पांच आसान तरीके बताएंगे, जिन्हें फॉलो करने पर साइबर ठगी की संभावना काफी कम हो जाएगी।
ऐसे पता करें फेक वेबसाइट

1- सर्च इंजन में वेबसाइट का एड्रेस टाइप करें और रिजल्ट का रिव्यू करें। वेबसाइट के एड्रेस में ही कई तरह की महत्वपूर्ण जानकारी होती है, ब्राउज करने, खरीदने, रजिस्ट्रेशन करने से पहले हमेशा यूआरएल की जांच करें।

2- वेबसाइट के कनेक्शन टाइप को देखें और सुनिश्चित करें वेबसाइट का HTTPS लिखा है कि नहीं, क्योंकि वेबसाइट HTTPS पर सुरक्षित रूप से कनेक्ट होती है, HTTP पर नहीं।

3- वेबसाइट सर्टिफिकेशन और ट्रस्ट सील को वेरिफाई करें। इसकी वैधता की पुष्टि करने के लिए हमेशा SSL सर्टिफिकेशन को चेक करें। ट्रस्ट सील आमतौर पर होमपेज, लॉगिन पेज और चेकआउट पेज पर लगाए जाते हैं।

4- यदि आपको वेबसाइट पर खराब अंग्रेजी के साथ गलत वर्तनी और गलत स्पेलिंग दिखती है, तो यह फेक वेबसाइट हो सकती है। आमतौर पर खराब व्याकरण, या अजीब वाक्यांश होने पर साइट की वास्तविकता पर सवाल उठता है।

5- यदि आपको वेबसाइट पर आक्रामक विज्ञापन दिखते हैं तो सावधान रहें। आप जिस साइट पर हैं, वहां आश्चर्यजनक रूप से बड़ी संख्या में विज्ञापन दिखाई दे रहे हैं तो इस प्रकार की वेबसाइट को तुरंत बंद कर दें। इस प्रकार की वेबसाइट पर गलती से भी आपने किसी विज्ञापन पर क्लिक कर दिया तो आपको अन्य फेक साइट पर भेज दिया जाएगा, जो कि वायरस और ट्रोजन से भरी होती है। यह विश्वसनीय साइट भी नहीं है, यहां भी वायरस और ट्रोजन हो सकते हैं।

Niranjan Sharma

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